DRDO ने नौसेना को सौंपे 6 रणनीतिक स्वदेशी उत्पाद : रक्षा आत्मनिर्भरता
रक्षा आत्मनिर्भरता का नया अध्याय भारत की रक्षा क्षमताओं को मजबूती प्रदान करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए, रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने भारतीय नौसेना को छह रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण स्वदेशी उत्पाद सौंपे हैं। ये अत्याधुनिक प्रणालियाँ नौसेना की NSQR (नौसेना स्टाफ गुणात्मक आवश्यकताएँ) के अनुरूप डिज़ाइन और विकसित की गई हैं, जो देश की 'आत्मनिर्भर भारत' पहल को एक नई गति प्रदान करती हैं। यह विशेष समारोह जोधपुर स्थित रक्षा प्रयोगशाला में आयोजित किया गया, जहाँ इस उपलब्धि को एक नई ऊँचाई मिली।
रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने भारतीय नौसेना को छह महत्वपूर्ण स्वदेशी उत्पाद सौंपकर देश की रक्षा आत्मनिर्भरता में एक नया अध्याय जोड़ा है। ये उत्पाद नौसेना के लिए विशेष रूप से डिज़ाइन और विकसित किए गए हैं, जो उनकी परिचालन आवश्यकताओं को पूरा करते हैं। यह कदम भारत को रक्षा प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में और अधिक आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर है।
NSQR के अनुरूप विकास
ये सभी उत्पाद नौसेना स्टाफ गुणात्मक आवश्यकताओं (NSQR) के सख्त मानदंडों के अनुसार डिजाइन और विकसित किए गए हैं। NSQR वे मानक हैं जो भारतीय नौसेना की विभिन्न प्रणालियों और उपकरणों के लिए आवश्यक प्रदर्शन और गुणवत्ता विशेषताओं को परिभाषित करते हैं। इन उत्पादों का NSQR के अनुरूप होना यह सुनिश्चित करता है कि वे नौसेना की वास्तविक जरूरतों और परिचालन चुनौतियों का प्रभावी ढंग से सामना कर सकें।
जोधपुर में हुआ ऐतिहासिक हस्तांतरण DRDO द्वारा नौसेना को सौंपे गए इन छह उत्पादों में कई उन्नत प्रणालियां शामिल हैं। DRDO का यह प्रयास 'आत्मनिर्भर भारत' के लक्ष्य को प्राप्त करने और देश की सुरक्षा को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण योगदान है। इनमें गामा रेडिएशन एरियल सर्विलांस सिस्टम (GRASS), एनवायर्नमेंटल सर्विलांस व्हीकल (ESV), व्हीकल रेडियोलॉजिकल कंटामिनेशन मॉनिटरिंग सिस्टम (VRCMS), अंडरवाटर गामा रेडिएशन मॉनिटरिंग सिस्टम (UGRMS), डर्ट एक्सट्रेक्टर एंड क्रॉस कंटामिनेशन मॉनिटर (DECCOM) और ऑर्गन रेडियोएक्टिविटी डिटेक्शन सिस्टम (ORDS) प्रमुख हैं। ये सभी प्रणालियां भारतीय नौसेना की निगरानी, सुरक्षा और परिचालन क्षमताओं को अभूतपूर्व रूप से बढ़ाएंगी।
इन रणनीतिक उत्पादों का हस्तांतरण एक विशेष समारोह में किया गया, जो जोधपुर स्थित रक्षा प्रयोगशाला में आयोजित हुआ। इस अवसर पर सचिव, DDR&D (रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग) और DRDO के अध्यक्ष ने नौसेना मुख्यालय के ACNS (SSP) रियर एडमिरल श्रीराम अमूर को ये उत्पाद सौंपे। यह समारोह DRDO और भारतीय नौसेना के बीच मजबूत समन्वय और रक्षा क्षेत्र में स्वदेशीकरण के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।